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शिशु को मच्छरों से बचाएंगे तुलसी और एलोवेरा, जानें कैसे

शिशु को मच्छरों से बचाएंगे तुलसी और एलोवेरा, जानें कैसे

7 Jul 2022 | 1 min Read

Vinita Pangeni

Author | 549 Articles

नवजात अपनी सुरक्षा स्वयं नहीं कर पाते। इसलिए, माता-पिता को अधिक सतर्क रहना पड़ता है। अब गर्मी और बरसात के मौसम में मच्छरों का प्रकोप बढ़ता जाएगा। इस समय छोटे बच्चों को मच्छर से बचाने के लिए आप तुलसी और एलोवेरा का इस्तेमाल कर सकते हैं। किस तरह से तुलसी और एलोवरा का उपयोग करने से मच्छरों से बचाव होता है, यह हम यहां बताएंगे।

नवजात को मच्छर से बचाने के लिए तुलसी और एलोवेरा क्यों? 

मच्छर के काटने से बहुत-सी बीमारियां होती हैं। इसी वजह से छोटे बच्चों को मच्छर से बचाने के लिए तुलसी और एलोवेरा का इस्तेमाल कर सकते हैं। यह प्राकृतिक होने के कारण छोटे बच्चों के लिए पूरी तरह से सुरक्षित होता है। 

दरअसल, नवजात के लिए मच्छर रोधी क्रीम यानी मॉस्किटो रिपेलेंट (Mosquito Repellent) को सुरक्षित नहीं माना जाता है, क्योंकि छोटे बच्चों की त्वचा बेहद संवेदनशील होती है। 

हाँ, आप मॉस्किटो रिपेलेंट पैच का इस्तेमाल कर  सकते हैं। इन्हें बच्चे के कपड़े में या फिर आसपास लगाना होता है, इसलिए यह सुरक्षित माना जाता है। यह छोटे बच्चों को डेंगू और मलेरिया जैसी मच्छर से होने वाली बीमारियों से बचा सकता है।

नवजात को मच्छर से बचाने के लिए तुलसी और एलोवेरा कैसे फायदेमंद है?

मच्छर के काटने के बाद क्या करें? अब शिशु को मच्छरों से बचाव तुलसी और एलोवेरा करेंगे।
मच्छर के काटने के बाद क्या करें, सोचना छोड़ दें। शिशु को मच्छरों से बचाव तुलसी और एलोवेरा से होगा। चित्र स्रोत – फ्रीपिक

नवजात को मच्छर से बचाने में तुलसी और एलोवेरा के गुण काम आते हैं। क्या है तुलसी के फायदे और एलोवेरा के लाभ, हम यह लेख में आगे बता रहें हैं।

तुलसी – एनसीबीआई की वेबसाइट में मौजूद एक रिसर्च पेपर में जिक्र मिलता है कि तुलसी के पत्तों में मॉस्किटो रिपेलेंट एक्टिविटी होती है। इसके अलावा, तुलसी में रोगाणुरोधी गतिविधियां भी होती हैं। यह नवजात को मलेरिया के कीटाणु और अन्य बैक्टीरिया से बचा सकते हैं।

एलोवेरा – नवजात को मच्छर से बचाने के लिए एलोवेरा भी फायदेमंद हो सकता है। एलोवेरा में त्वचा को शांत करने वाला और हाइड्रेटिंग प्रभाव होता है। साथ ही एलोवेरा को लार्विसाइडल (larvicidal) गतिविधि समृद्ध माना जाता है। यह लार्वासाइड गतिविधि मच्छरों को बढ़ने से रोकता है।

अगर बच्चा एक साल से ऊपर का है, तो आप उसके लिए एक नेचुरल मॉस्किटो रिपेलेंट बॉडी स्प्रे भी खरीद सकते हैं।

नवजात शिशु के शरीर पर मच्छर के काटने की पहचान कैसे करें?

नवजात शिशु को मच्छर के काटने के बाद उसके त्वचा पर कुछ लक्षण नजर आते हैं। क्या हैं नवजात शिशु के शरीर पर मच्छर के काटने के लक्षण आगे जानिए। 

  • मच्छर के काटने के कुछ देर बाद त्वचा पर लाल रंग के धब्बे दिखना
  • दानों में सूजन होना
  • लाल धब्बों का उभर जाना
  • उन धब्बों में खुजली होना
  • चकत्ते या फफोले दिखना
  • चकत्तों में दर्द होना
  • त्वचा पर नील जैसे काले धब्बे दिखना
  • गंभीर स्थिति में हल्का बुखार, पित्ती यानी हीव्स होना

मच्छर के काटने के बाद त्वचा पर नजर आने वाले चकत्ते, उभरे हुए दाने, दर्द, खुजली इन सभी को ठीक करने के लिए आफ्टर बाइट रोल ऑन काम आता है। प्रभावित त्वचा पर लगाने के बाद यह मच्छर के काटने के लक्षण को शांत कर देते हैं।

आप बच्चे के लिए एलोवेरा और तुलसी का उपयोग करके आसानी से बच्चे को मच्छरों से बचा सकते हैं। इसके लिए आप नारियल तेल में तुलसी और एलोवेरा डालकर एक लिक्विड तैयार करके बच्चे की स्किन में लगा सकते हैं। 

ऐसा न करना हो, तो आप सीधे तुलसी को पीसकर बच्चे की स्किन पर भी लगा सकते हैं। बस ध्यान दें कि एलोवेरा को सीधे बच्चे की पूरी त्वचा पर लगाने से बचें। क्योंकि, कुछ एलोवेरा से बच्चे को एलर्जी हो सकती है। इसी वजह से एलोवेरा को हमेशा थोड़ी-सी त्वचा पर लगाकर पैच टेस्ट करें। उसके बाद अगर एलर्जी न हो, तभी उसकी स्किन पर लगाएं।

मुख्य चित्र स्रोत – pexels

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