10 Nov 2021 | 1 min Read
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निमोनिया छाती और फेफड़ों का ऐसा संक्रमण, जिसमें सांस लेने में तकलीफ होती है। निमोनिया में छाती में तरल पदार्थ भर जाता है। जिसकी वजह से खांसी, बुखार जैसी समस्या गंभीर रूप लेती है। अगर निमोनिया नवजात शिशु में हो तो यह बहुत ही घातक बन जाता है। शिशुओं में निमोनिया से बचाव और रोकथाम करना बहुत आवश्यक है। अगर शिशुओं में निमोनिया का समय पर पता नहीं लगाए जाए तो स्थिति गंभीर हो सकती है।
शिशुओं में निमोनिया के लक्षण
इसके अलावा निमोनिया के और भी लक्षण हो सकते हैं। अगर आपके शिशु को ऐसे कोई भी लक्षण हैं तो फौरन डॉक्टर से संपर्क करे। क्योंकि शुरुआत में निमोनिया का पता लगाने से इस पर काबू पाया जा सकता है।
शिशुओं में निमोनिया के कारण क्या है
निमोनिया से बचाव
नवजात शिशु को निमोनिया के शुरुआती संक्रमण से बचाव के लिए आप कुछ घरेलू नुस्खे अपनाएं।
अगर शिशु को जरा सी भी सांस लेने में तकलीफ है तो डॉक्टर को तुरंत दिखाए।
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